उत्तराखंड

राष्ट्रीय खेलों के 38वें संस्करण में 1200 विशिष्ट खेल स्वयंसेवकों की भी तैनाती, दो तरह के स्वयंसेवक अपना योगदान करेंगे

राष्ट्रीय खेलों में 1200 विशिष्ट खेल स्वयंसेवकों की भी तैनाती की जाएगी। नेशनल फेडरेशन स्पोर्ट्स ऑफ इंडिया के स्तर पर उत्तराखण्ड को यह स्वयंसेवक उपलब्ध कराए जाएंगे। उत्तराखण्ड अपने स्तर से भी करीब 2300 सामान्य स्वयंसेवकों को चयनित करने जा रहा है। विशिष्ट खेल स्वयंसेवक इनसे अलग होंगे। हालांकि सामान्य स्वयंसेवकों के साथ ही इन्हें भी व्यवहार और शिष्टाचार की ट्रेनिंग प्रदान की जाएगी।
उत्तराखण्ड राष्ट्रीय खेलों के 38वें संस्करण की मेजबानी कर रहा है। यह आयोजन 28 जनवरी से शुरू होने जा रहा है। तमाम तरह की व्यवस्थाओं को बनाने के लिए दो तरह के स्वयंसेवक अपना योगदान करेंगे। इसमें से सामान्य स्वयंसेवकों की भर्ती की प्रक्रिया वर्तमान में चल रही है। 30 हजार से ज्यादा लोगों ने स्वयंसेवक बनने के लिए रजिस्ट्रेशन किया है। इन सभी को ऑनलाइन ट्रेनिंग दी गई है। ऑनलाइन परीक्षा भी ली गई है। इसके परिणाम के आधार पर ही स्वयंसेवक भर्ती किए जाएंगे।
राष्ट्रीय खेल सचिवालय के अपर मुख्य कार्यकारी अधिकारी प्रशांत आर्या के अनुसार सामान्य स्वयंसेवकों के अलावा विशिष्ट खेल स्वयंसेवकों की भी तैनाती की जाएगी। नेशनल फेडरेशन स्पोर्ट्स ऑफ इंडिया के माध्यम से ये स्वयंसेवक उत्तराखण्ड को प्राप्त होंगे, जिनकी विभिन्न स्थानों पर तैनाती की जाएगी।
खेल पृष्ठभूमि वाले इन स्वयंसेवकों को राष्ट्रीय व अंतर्राष्ट्रीय स्तर की प्रतियोगिता का अनुभव होता है। सामान्य स्वयंसेवकों को जहां पार्किंग, मेहमानों को लाने-ले जाने संबंधी अन्य सामान्य व्यवस्थाओं में उपयोग किया जाता है, वहीं विशिष्ट स्वयंसेवकों को खेल से सीधे जुड़ी व्यवस्थाओं में जिम्मेदारी दी जाती है। स्वयंसेवकों से संबंधित कार्य देख रहे प्रतीक जोशी के अनुसार-विशिष्ट खेल स्वयंसेवकों को प्रतिदिन एक हजार रूपये मानदेय दिया जाएगा। सामान्य स्वयंसेवक का प्रतिदिन का मानदेय पांच सौ रूपये तय किया गया है।

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